शुक्रवार, 13 दिसंबर 2013

मुझे कुछ कहने की जरूरत नही है .. आप खुद सोचिये

१- अन्ना के जनलोकपाल आन्दोलन पर जब सारा देश सड़को पर उतरा था तब सोनिया गाँधी और राहुल गाँधी खामोश रहे ..
२- बाबा रामदेव के कालेधन आन्दोलन पर सोनिया गाँधी और राहुल गाँधी खामोश रहे .. रामलीला मैदान में जब पुलिस ने राजबाला की हत्या की तब भी दोनों माँ बेटे खामोश रहे
३- कैम्पाकोला कम्पाउड में रहने वाले हजारो लोगो के घर गिराने के हाईकोर्ट और सुप्रीमकोर्ट के आदेश पर भी दोनों माँ बेटे खामोश रहे
४-जब केदारनाथ हादसा हुआ और लाखो हिन्दू मरे तो राहुल गाँधी बर्सिलोना और सोनिया गाँधी इटली चली गयी ..
५- केंद्र सरकार के कई लाख करोड़ के घोटालो जैसे टू जी, कोलगेट, कामनवेल्थ आदि पर ये दोनों माँ बेटे खामोश रहे
७- पाकिस्तान हमारे कई सैनिको के सर काट के ले गया तो भी ये दोगले माँ बेटे खामोश रहे लेकिन ११.१४ पर सुप्रीमकोर्ट ने समलैंगिकता को अपराध माना तो ये दोनों माँ बेटे ११.२४ पर ही इसके खिलाफ बोलने लगे और इसे आज़ादी के खिलाफ काला कानून बताया क्यों ?

विचार करिये ।

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