सोमवार, 1 अक्तूबर 2012

!! कश्मीर की सच्चाई !!

मित्रो, आपको हम एक ऐसी दर्दनाक सच्चाई बताने जा रहे है। जो देश के 99% से ज्यादा लोगो को पता नहीं है। आप सभी ने सुना होगा कश्मीरी पंडितो के बारे में। हम सभी ने सुना है की हा कुछ तो हुआ था कश्मीरी पंडितो के साथ। लेकिन क्या हुआ था क्यों हुआ था ...यह ठीक से पता नहीं है। हम आपको वह बात विस्तार में बताने जा रहे है की क्या हुआ था कश्मीर में और क्या हुआ था कश्मीरी पंडितो के साथ।

पार्ट 1: कश्मीर का खुनी इतिहास ----कश्मीर का नाम कश्यप ऋषि के नाम पर पड़ा था। कश्मीर के मूल निवासी सारे हिन्दू थे। कश्मीरी पंडितो की संस्कृति 5000 साल पुरानी है और वो कश्मीर के मूल निवासी हैं। इसलिए अगर कोई कहता है की भारत ने कश्मीर पर कब्ज़ा कर लिया है यह बिलकुल गलत है। 14वीं शताब्दी में तुर्किस्तान से आये एक क्रूर आतंकी मुस्लिम दुलुचा ने 60,000 लोगो की सेना के साथ कश्मीर में आक्रमण किया और कश्मीर में मुस्लिम साम्राज्य की स्थापना की। दुलुचा ने नगरों और गाँव को नष्ट कर दिया और हजारों हिन्दुओ का नरसंघार किया। बहुत सारे हिन्दुओ को जबरदस्ती मुस्लिम बनाया गया। बहुत सारे हिन्दुओ ने जो इस्लाम नहीं कबूल करना चाहते थे, उन्होंने जहर खाकर आत्महत्या कर ली और बाकि भाग गए या क़त्ल कर दिए गए या इस्लाम कबूल करवा लिए गए। आज जो भी कश्मीरी मुस्लिम है उन सभी के पूर्वजो को इन अत्याचारों के कारण जबरदस्ती मुस्लिम बनाया गया था।

भारत पर मुस्लिम आक्रमण अतिक्रमण - विश्व इतिहास का सबसे ज्यादा खुनी कहानी:
http://www.youtube.com/watch?v=TMY2YV9WucY

भारत के खुनी विभाजन के बारे में जानने के लिए यह विडियो देखे:
http://www.youtube.com/watch?v=jGiTaQ60Je0

अधिक जानकारी के लिए इस लिंक को देखे:
http://kasmiripandits.blogspot.com/2012/04/tragic-history-of-kasmir.html
http://en.wikipedia.org/wiki/Kashmir#Muslim_rule

पार्ट 2: 1947 के समय कश्मीर
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1947 में ब्रिटिश संसद के "इंडियन इंडीपेनडेंस इ एक्ट" के अनुसार ब्रिटेन ने तय किया की मुस्लिम बहुल क्षेत्रों को पाकिस्तान बनाया जायेगा। 150 राजाओं ने पाकिस्तान चुना और बाकी 450 राजाओ ने भारत। केवल एक जम्मू और कश्मीर के राजा बच गए थे जो फैसला नहीं कर पा रहे थे। लेकिन जब पाकिस्तान ने फौज भेजकर कश्मीर पर आक्रमण किया तो कश्मीर के राजा ने भी हिंदुस्तान में कश्मीर के विलय के लिए दस्तख़त कर दिए। ब्रिटिशो ने यह कहा था की राजा अगर एक बार दस्तखत कर दिया तो वो बदल नहीं सकता और जनता की आम राय पूछने की जरुरत नहीं है। तो जिन कानूनों के आधार पर भारत और पाकिस्तान बने थे उन नियमो के अनुसार कश्मीर पूरी तरह से भारत का अंग बन गया था। इसलिए कोई भी कहता है की कश्मीर पर भारत ने जबरदस्ती कब्ज़ा कर रहे है वो बिलकुल झूठ है।

अधिक जानकारी के लिए यह विडियो आप देख सकते है:
http://www.youtube.com/watch?v=gxhVDKRFh28

पार्ट 3: सितम्बर 14, 1989
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बीजेपी के राष्ट्रीय कार्यकारणी के सदस्य और जाने माने वकील कश्मीरी पंडित तिलक लाल तप्लू का JKLF ने क़त्ल कर दिया। उसके बाद जस्टिस नील कान्त गंजू को गोली मार दिया गया। सारे कश्मीरी नेताओ की हत्या एक एक करके कर दी गयी। उसके बाद 300 से ज्यादा हिन्दू महिलाओ और पुरुषो की निर्संश हत्या की गयी। कश्मीरी पंडित नर्स जो श्रीनगर के सौर मेडिकल कॉलेज अस्पताल में काम करती थी, का सामूहिक बलात्कार किया गया और मार मार कर उसकी हत्या कर दी गयी। यह खुनी खेल चलता रहा और अपने सेकुलर राज्य और केंद्र सरकार, मीडिया ने कुछ भी नहीं किया।

पार्ट ४: जनवरी 4, 1990
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आफताब, एक स्थानीय उर्दू अखबार ने हिज्ब -उल -मुजाहिदीन की तरफ से एक प्रेस विज्ञप्ति जारी की, सभी हिन्दू अपना सामन पैक करें और कश्मीर छोड़ कर चले जाएँ। एक अन्य स्थानीय समाचार पत्र, अल सफा ने इस निष्कासन आदेश को दोहराया। मस्जिदों में भारत और हिन्दू विरोधी भाषण दिए जाने लगे। सभी कश्मीरी हिन्दू/मुस्लिमो को कहा गया की इस्लामिक ड्रेस कोड अपनाये। सिनेमा और विडियो पार्लर वगैरह बंद कर दिए गए। लोगो को मजबूर किया गया की वो अपनी घड़ी पाकिस्तान के समय के अनुसार करे लें।

अधिक जानकारी के लिए यह लिंक और ब्लॉग आप देख सकते है:
http://kasmiripandits.blogspot.com/2012/04/when-kashmiri-pandits-fled-islamic.html
http://www.rediff.com/news/2005/jan/19kanch.htm - [19/01/90: When Kashmiri Pandits fled Islamic terror]

पार्ट 5: जनवरी 19, 1990
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सारे कश्मीरी पंडितो के घर के दरवाजो पर नोट लगा दिया जिसमे लिखा था "या तो मुस्लिम बन जाओ या कश्मीर छोड़ कर भाग जाओ या फिर मरने के लिए तैयार हो जाओ"। पाकिस्तान की तत्कालीन प्रधानमंत्री बेनजीर भुट्टो ने टीवी पर कश्मीरी मुस्लिमो को भारत से आजादी के लिए भड़काना शुरू कर दिया। सारे कश्मीर के मस्जिदों में एक टेप चलाया गया। जिसमे मुस्लिमो को कहा गया की वो हिन्दुओ को कश्मीर से निकाल बाहर करें। उसके बाद सारे कश्मीरी मुस्लिम सडको पर उतर आये। उन्होंने कश्मीरी पंडितो के घरो को जला दिया, कश्मीर पंडित महिलाओ का बलात्कार करके, फिर उनकी हत्या करके उनके नग्न शरीर को पेड़ पर लटका दिया गया। कुछ महिलाओ को जिन्दा जला दिया गया और बाकियों को लोहे के गरम सलाखों से मार दिया गया। बच्चो को स्टील के तार से गला घोटकर मार दिया गया। कश्मीरी महिलाये ऊंचे मकानों की छतो से कूद कूद कर जान देने लगी। कश्मीरी मुस्लिम, कश्मीरी हिन्दुओ के हत्या करते चले गए और नारा लगते चले गए की उन पर अत्याचार हुआ है और उनको भारत से आजादी चाहिए।

पार्ट 6: कश्मीरी पंडितो का पलायन
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3,50,000 कश्मीरी पंडित अपनी जान बचा कर कश्मीर से भाग गए। कश्मीरी पंडित जो कश्मीर के मूल निवासी है उन्हें कश्मीर छोड़ना पड़ा और तब कश्मीरी मुस्लिम कहते है की उन्हें आजादी चाहिए। यह सब कुछ चलता रहा लेकिन सेकुलर मीडिया चुप रही उन्होंने देश के लोगो तक यह बात कभी नहीं पहुचाई इसलिए देश के लोगो को आज तक नहीं पता चल पाया की क्या हुआ था कश्मीर में। देश- विदेश के लेखक चुप रहे, भारत का संसद चुप रहा, देश के सारे हिन्दू, मुस्लिम, सेकुलर चुप रहे। किसी ने भी 3,50,000 कश्मीरी पंडितो के बारे में कुछ नहीं कहा। आज भी अपने देश के मीडिया 2002 के दंगो के रिपोर्टिंग में व्यस्त है। वो कहते है की गुजरात में मुस्लिम विरोधी दंगे हुए थे लेकिन यह कभी नहीं बताते की 750 मुस्लिमों के साथ साथ 250 हिन्दू भी मरे थे और यह भी कभी नहीं बताते की दंगो की शुरुआत मुस्लिमो ने की थी, जब उन्होंने 59 हिन्दुओं को ट्रेन में गोधरा में जिन्दा जला दिया था। हिन्दुओं पर अत्याचार के बात की रिपोर्टिंग से कहते है की अशांति फैलेगी, लेकिन मुस्लिमो पर हुए अत्याचार की रिपोर्टिंग से अशांति नहीं फैलती। इसे कहते है सेकुलर (धर्मनिरपेक्ष) पत्रकारिता।
http://kashmiris-in-exile.blogspot.com/2009/01/19-years-to-19th-day-of-1990-exodus-of.html

पार्ट 7: कश्मीरी पंडितो के आज की स्थिति
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आज 4.5 लाख कश्मीरी पंडित अपने देश में ही रेफूजी की तरह रह रहे है। पूरे देश या विदेश में कोई भी नहीं है उनको देखने वाला। कोई भी मीडिया नहीं है जो उनके बारे में हुए अत्याचार को बताये। कोई भी सरकार या पार्टी या संस्था नहीं है जो की विस्थापित कश्मीरियों को उनके पूर्वजों के भूमि में वापस ले जाने को तैयार है। कोई भी नहीं इस इस दुनिया में जो कश्मीरी पंडितो के लिए "न्याय" की मांग करे। कश्मीरी पंडित काफी पढ़े लिखे लोगो के तरह जाने जाते थे, आज वो भिखारियों के तरह पिछले 22 सालो से टेंट में रह रहे है। उन्हें मुलभुत सुविधाए भी नहीं मिल पा रही है, पीने के लिए पानी तक की समस्या है। भारतीय और विश्व की मीडिया, मानवाधिकार संस्थाए गुजरात दंगो में मरे 750 मुस्लिमो (310 मारे गए हिन्दुओ को भूलकर) की बात करते है। लेकिन यहाँ तो कश्मीरी पंडितो की बात करने वाला कोई नहीं है क्योकि वो हिन्दू है। 20,000 कश्मीरी हिन्दू बस धुप की गर्मी के कारण मर गए क्योकि वो कश्मीर के ठन्डे मौसम में रहने के आदि थे।

अधिक जानकारी के लिए यह विडियो आप देख सकते है:

http://www.youtube.com/watch?v=kqSqn0id-IE [Shocking, Tragic and Horrible story of Kashmiri Pandits]

पार्ट 8: कश्मीरी पंडितो और भारतीय सेना के खिलाफ भारतीय मीडिया का षड्यंत्र
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आज देश के लोगो को कश्मीरी पंडितो के मानवाधिकारों के बारे में भारतीय मीडिया नहीं बताती है लेकिन आंतकवादियों के मानवाधिकारों के बारे में जरुर बताती है। आज सभी को यह बताया जा रहा था है की ASFA नाम का किसी कानून का भारतीय सेना काफी ज्यादा दुरूपयोग किया है। कश्मीर में अलगावादी संगठन मासूम लोगो की हत्या करवाते है और भारतीय सेना के जवान जब उन आतंकियों के खिलाफ कोई करवाई करते है तो यह अलगावादी नेता अपने बिकी हुए मीडिया के सहायता से चीखना चिल्लाना शुरू कर देते है की देखो हमारे ऊपर कितना अत्याचार हो रहा है।

मित्रों, बात यहाँ तक नहीं रुकी है। अश्विन कुमार जैसे कुछ डाइरेक्टर इंशाल्लाह कश्मीर नामक पिक्चर बना रहे है और यह पुरे विश्व की लोगो को यह दिखा रहे है की कश्मीर के भोले भाले मुस्लिम युवाओ पर भारतीय सेना के जवानों ने अत्याचार किया है। अश्विन कुमार अपने वृत्तचित्र पूरे विश्व के पटल पर रख रहे है। हर तरह से देश और विदेश में लोगो को दिखा रहे है की गलती भारतीय सेना की है..लेकिन जो सच्चाई है वो बिलकुल यह छिपा दे रहे है।

इस विडियो में देखे की किस प्रकार भारतीय सेना के खिलाफ सद्यन्त्र किया जा रहा है:
http://www.youtube.com/watch?v=LofOulSw07k - [Anti Hindu and Anti Indian Military - Indian Secular Media Exposed!]

पार्ट 9: निष्कर्ष
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सारे मुस्लिम कहते है मोदी को फांसी दो जबकि मोदी ने गुजरात की दंगो को समय रहते रोक दिया। लेकिन आज तक एक भी मुस्लिम को यह कहते नहीं सुना गया की कांग्रेस के नेताओं, गाँधी परिवार और अब्दुल्लाह परिवार को फांसी दो। जो लाखो कश्मीरी पंडितो के कत्लेआम देखते रहे।
मित्रों, इस कहानी को अगर आप पढ़ चुके है तो अपने बाकी मित्रो के साथ शेयर करे ताकि उन्हें भी सत्य का ज्ञान हो। जो कश्मीर में हुआ था, आज वो मुस्लिम बहुल केरल, पश्चिम बंगाल, हैदराबाद, यूपी के कुछ भागो में हो रहा है। हिन्दुओ पर आज अत्याचार देश के काफी जगहों में हो रहा है। लेकिन सेकुलर मीडिया कुछ बताती नहीं इसलिए आपको और हमें कुछ पता नहीं चल पता है और इसलिए हमारा या आपका कोई दोष भी नहीं है। अगर हमें कुछ पता ही नहीं चलेगा तो हम करेंगे क्या?
आज जितने भी प्रिंट और इलेक्ट्रोनिक मीडिया है ज्यादातर को अरब से तेल का पैसा मिलता है। यह सेकुलर मीडिया हिन्दुओं के विनाश के बाद ही रुकेगी क्योकि हिन्दू संस्था, पार्टी कभी मीडिया पर ध्यान ही नहीं देती। आज की सेकुलर मीडिया आधी जिहादियो और आधी कांग्रेस्सियो के नियत्रण में है। हिन्दुओ के साथ हो रहे अत्याचार को बताने के लिए एक भी टीवी या प्रिंट मीडिया नहीं है।

मित्रों, हम नहीं चाहते एक और कश्मीर बने। हम नहीं चाहते की हमारे बच्चे 10 सालों के बाद केरलाइ हिन्दू, बंगाली हिन्दुओ के बारे में कहानिया सुने जैसा हम आज कश्मीरी हिन्दुओ के बारे में सुनते हैं।

http://kasmiripandits.blogspot.com/2012/03/kasmiri-pandit-untold-story.html

॥ वन्दे मातरम् ॥
जय हिन्द, जय भारत

!!जागो , कहीँ देर न हो जाए …..???

वर्तमान समय मेँ हमारा देश चारोँ ओर से भयंकर समस्याओं से घिरा हुआ है ! चीन, बंगलादेश, पाकिस्तान, जब भी मौका मिलता है भारत  को घायल करने में कोई कसर नहीँ छोड़ते है ! केन्द्र में बैठी यूपीए सोनिया पार्टी की सरकार कबूतर की तरह आँखें बंद किए बैठी है ...भ्रष्टाचारी सरकार के अन्दर और बाहर मौज कर रहेँ हैं ,लगभग सभी राजनातिक दलों में ..जो पकड़ाया ओ चोर जो नहीं पकड़ाया ओ इमानदार ...... राष्ट्रपति प्रतिभा पाटिल अपना कार्यकाल पूरा करके शून्य उपलब्धि के साथ यूपीए का पूरा साथ देकर विदा हो गई हैँ... झारखंड में छ्तीस्गड़ में नक्सलियों , माओवादियोँ के हाथोँ भारत माता के कई  जवान शहीद होते रहते है  हैं ....उत्तर प्रदेश के कुशीनगर जिले के एक थाने में पुलिसकर्मियों द्वारा एक महिला को जबरदस्ती शराब पिलाकर सामूहिक बलात्कार किया गया है ... असम में भड़की हिँसा थमने का नाम नहीं ले रही ..हिँसा थमी भी तो बाढ़ ने रौद्र रूप लेलिया ..... राजस्थान में एक प्रेमी जोड़े के साथ जिस प्रकार का शर्मनाक व्यवहार किया गया तथा लड़की को नंगा कर पेड़ से बांध कर पीटा गया वह समाज के मुंह पर एक तमाचा है .....पर इसे कुछ समाज जन अपनी नाक से जोडकर देख रहे है .... गुवाहाटी मेँ एक लड़की को सरे बाजार जिस नृशंसता के साथ बेईज्जत किया जाता है उसे क्या कहेँ ???
        अकेले बुजुर्गों ,माहिलाओ की हत्या तथा लूटपाट तो आम बाते हैं जिन्हेँ कोई तवज्जो नही दी जाती ...सामान्य समाचार बन गया है .... कुल मिला कर देखेँ तो आज देश मेँ कोई भी सुरक्षित नहीँ हैँ ....! सरकार चला रहे बड़े नेता जनता के पैसे पर ऐश कर रहे हैं ...! अपने चारोँ ओर सुरक्षा कर्मियोँ की भीड़ लगाकर चैन की नींद सोये रहना ही इनका काम है ..जनता जाए भाड़ मेँ...........

प्रतिभा पाटिल जी की विदाई के बाद अब उनकी जिम्मेवारियोँ को पूरी निष्ठा के साथ संभालने के लिए अब प्रणव दा आ गए हैं ..!  प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह जी  की तरह वे भी सोनिया जी पार्टी के लिए पूरी ऊर्जा से काम करेँगे मुझे पूरी आशा है  उनके राष्ट्रपति चुने जाने के बाद दिल्ली, कोलकाता व देश के अन्य भागोँ मेँ उनके समर्थकोँ के जश्न मनाने के समाचार तो आपने भी सुना होगा ..हद और सरम तो और उस समय बढ़ गई जब लोगो ने क्या मीडिया ने भी प्रणव दा को एक जाति विशेष से तौल कर देखा ...प्रणव दा की जाति के लोग खुस है की मेरी जाति का राष्ट्रपति बना .... साथ ही उनके खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोप लगाकर मुर्दाबाद के नारे भी बुलन्द हो चुके हैं .....

            लगता है देश को एक संगठित गिरोह द्वारा बड़े योजनाबद्ध तरीके से लूटा जा रहा है ..! इसने देश की सत्ता की ताकत को भी अपने मेँ समाहित कर लिया है ! वर्तमान मेँ कोई भी इसको चुनौती देने मेँ सक्षम नहीँ हो पा रहा है ............
           देश की अन्य राजनैतिक शक्तियाँ क्षेत्रवाद तथा जातिगत आधार पर सीमित हो गई है ....
              अन्ना तथा रामदेव के आन्दोलन अलग अलग दूरियां बनाकर किए जा रहे हैं .....((हलाकि के इन दोनों के नजदीक आने की भी सुगबुगाहट सुनाई दे रही है ))... विपक्षी इन मुद्दोँ पर अपनी अपनी राय देकर यूपीए का काम आसान कर रहे हैं.. भाजपा राष्ट्रपति चुनाव मेँ अपना प्रत्याशी तय न कर पाकर संगमा के पिछे खड़े होकर अपनी फजीहत करवा चुकी है .....और उपराष्ट्रपति पद के लिए बलि का बकरा भी बनाया जा चूका है ....पर क्या करे ? बकरे के अम्मा कब तक खैर मनायेगी ???
                जबतक सभी देशभक्त शक्तियाँ एक राष्ट्रीय पहचान तथा दिशा को लेकर नहीँ चलेंगी तबतक ऐसे ही कुटिल राजनेता अपना उल्लू सीधा करते रहेंगे...लेकिन समस्या नेतृत्व की भी है ..जब देश को क्षमतावान सच्चा नेतृत्व मिलेगा तो वोटोँ ध्रुवीकरण होगा जिससे सभी समस्याओँ का निराकरण होगा ..इसके लिए देश की जनता को जागरूक होकर अभी और प्रतीक्षा करनी पड़ेगी ...

          बहुसंख्य हिन्दु समाज की सहिष्णुता ही उसकी कमजोरी बन गई है ......और तथाकथित अल्पसंख्यक  की एकता के क्या कहने ....पर किन मुद्दों पर एकता है आपको पता ही  होगा . सभी समस्याओँ की जड़ इस आत्मघाती प्रवृति मेँ हैं ...
          सरकार तथा राजनीतिक दल अल्पसंख्यक वोट बैँक में बंधक बन गए हैं ... जब तक विशाल हिन्दु समाज अपना वोट बैंक बनाकर संगठित नहीँ हो जाता तबतक ऐसी ही हिन्दु विरोधी नीतियां इस देश में चलती रहेंगी .....पर सवाल यह है ,की विशाल हिन्दु समाज एक होगा ?
           कभी कश्मीर, आज असम तो भविष्य मेँ देश के अन्य भागोँ मे यही दुर्दशा हिन्दुओँ की होने वाली है ...आज असम को दूसरा कश्मीर बनाने वालोँ को सबक सिखाने की आवश्यकता है .....पर यह सबक याद है आपको ???
       पर ध्यान रहे मैं देश में कट्टरता बढाने के लिए नहीं जगा रहा हु बल्कि देश को बचाने के लिए जगा रहा हु ..........

    अतः जागो , कहीँ देर न हो जाए …